शराब के साथ जब्त वाहनों की हुई नीलामी

शुक्रवार को कलेक्ट्रेट परिसर में शराब के साथ जब्त किए गए वाहनों की नीलामी की गई। नीलामी प्रक्रिया के दौरान वाहनों को प्राप्त करने के लिए लोगों की भारी भीड़ लगी रही। भीड़ का आलम यह रहा कि लोगों को नियंत्रित करने के लिए पुलिस को भी मशक्कत करनी पड़ी।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि सूबे के शराब पर पूर्ण रूप से प्रतिबंध लगाए जाने के बाद शराब के कारोबारियों के साथ जब्त किए गए वाहनों की नीलामी के लिए उत्पाद अधीक्षक ने शुक्रवार की तिथि निर्धारित की थी। पूर्व से निर्धारित तिथि के अनुसार कलेक्ट्रेट के कौशल विकास केंद्र में जब्त वाहनों की नीलामी की प्रक्रिया प्रारंभ की गई। नीलामी प्रक्रिया में भाग लेने के लिए लोगों की भीड़ कलेक्ट्रेट परिसर में लगी रही। नीलामी को लेकर बनाए गए काउंटर पर लोगों ने वाहनों को प्राप्त करने व नीलामी की प्रक्रिया में भाग लेने के लिए अपना निबंधन कराया। इसके बाद निबंधन कराने वाले को ही संबंधित वाहन की नीलामी में भाग लेने की अनुमति दी गई। पूरे दिन चली नीलामी प्रक्रिया के दौरान शाम के पांच बजे तक 45 वाहनों की नीलामी की जा चुकी थी। इन वाहनों में अधिकांश वाहन दोपहिया थे। अलावा इसके कुछ चारपहिया वाहनों की भी नीलामी की गई। नीलामी के दौरान उत्पाद अधीक्षक प्रियरंजन के अलावा मजिस्ट्रेट के रूप में वरीय उप समाहर्ता राजीव रंजन सिन्हा, डीएसपी मुख्यालय विभाष कुमार, उत्पाद निरीक्षक सहित कई अधिकारी मौजूद थे। उत्पाद अधीक्षक ने बताया देर शाम तक नीलामी की प्रक्रिया पूर्ण कर ली जाएगी।
 

क्या रही नीलामी की प्रक्रिया
 शुक्रवार को उत्पाद विभाग द्वारा आयोजित नीलामी की प्रक्रिया काफी आसान रही। नीलामी के लिए लाए गए वाहन का सबसे पहले आधार मूल्य तय किया गया। इसके बाद आधार मूल्य से अधिक की नीलामी की प्रक्रिया कौशल विकास केंद्र में की गई। जिस आवेदक ने आधार मूल्य के अधिक की सबसे अधिक बोली लगाई, विहित प्रक्रिया के तहत उसे गाड़ी आवंटित की गई।

शाम तक रही गहमागहमी
 जब्त किए गए वाहनों की नीलामी को लेकर शाम तक कौशल विकास केंद्र से लेकर कलेक्ट्रेट परिसर में गहमागहमी का माहौल बना रहा। नीलामी को लेकर लोगों की संभावित भीड़ को देखते हुए प्रशासनिक स्तर पर बिहार पुलिस के जवानों के अलावा सैप बलों को भी तैनात किया गया था।

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